अलीगढ़ में जिले के सभी थानों के मालखानों के सामान को रेकार्ड तैयार कर डिजिटलाइज किया जा रहा है। अब क्यूआर कोड स्कैन करते ही मुकदमे संबंधी सामान की कुंडली खुलकर सामने आ जाएगी,तमिलनाडु में कुछ समय पहले कोर्ट ने दो आरोपियों को सिर्फ इसलिए बरी कर दिया था, क्योंकि उनके खिलाफ 22 किलो गांजा रूपी सबूत को चूहे हजम कर गए । ठीक ऐसा ही मथुरा और पटना में हुआ। मथुरा में तो चूहों ने जहां 581 किलो गांजा चट कर दिया वहीं वे बिहार में लाखों रुपये की शराब भी गटक गए। अब चूहे थानों के मालखाने में रखा न अफीम-गांजा आदि खा सकेंगे और न ही शराब पी सकेंगे। अलीगढ़ में जिलेके सभी थानों के मालखानों के सामान को रेकार्ड तैयार कर डिजिटलाइज किया जा रहा है। अब क्यूआर कोड स्कैन करते ही मुकदमे संबंधी सामान की कुंडली खुलकर सामने आ जाएगी। एडीजी आगरा जोन के स्तर से बीते दिनों थानों के मालखाने में रखे जब्त सामान का ऑपरेशन पहचान के तहत डिजिटल रिकार्ड रखे जाने का आदेश जारी किया गया था। जिसके बाद अलीगढ़ में ट्रायल बतौर थाना गांधीपार्क व लोधा में इसकी शुरूआत की गई थी। अब जिले के सभी 30 थानों में मुकदमों में जब्त सामान पर क्यूआर कोड चस्पा किया जा रहा है। हर थाने में मालखाना कक्ष अलग बना होता है। जिसमें चोरी,लूट डकैती के अलावा विभिन्न मुकदमे से संबंधित सामान को सुरक्षित रखा जाता है। अब मालखाने में रखे सामान को प्लास्टिक के डिब्बों में रखकर क्यूआर कोड चस्पा किया जा रहा है। पुलिस के अनुसार माल पर चस्पा बार कोड पर मुकदमे से संबंधित पूरी जानकारी मिल जाएगी। बार कोड स्कैन करते ही अपराध संख्या,माल का बजन समेत पूरा ब्यौरा सामने आ जाएगा।