सिद्धौर, बाराबंकी- नगर पंचायत सिद्धौर में लाखों रूपयो की लागत से बना एम आर एफ सेन्टर शो पीस बनकर रह गया।क्योंकि इस सेन्टर तक नगर पंचायत का कूड़ा पहुंचता ही नहीं जिसके चलते कूड़े के ढेर लगे हैं।काफी दुर्गंध उठ रही है और संक्रामक रोग फैलने का खतरा बढ़ता जा रहा है। नगर पंचायत सिद्धौर में लगभग 20 लाख रुपए से अधिक लागत से सिद्धौर कस्बे से लगभग 1 किलोमीटर दूर अरुई ग्राम पंचायत के पास नगर पंचायत प्रशासन ने एमआर एफ सेंटर का निर्माण कराया गया था।जिसका उद्देश्य था कि नगर पंचायत का कूड़ा वहां पर पहुंचाकर पॉलिथीन बोतल प्लास्टिक दफ्ती कागज को अलग-अलग कर मशीनों से अपशिष्ट बनाया जाना था।इस कूड़े से जो भी बेस्ट कूड़ा निकलेगा है।उसे निमतियापुर पहुंचाना था लेकिन यहां तो नगर पंचायत प्रशासन की लापरवाही के चलते एमआरएफ सेंटर पर लगी मशीन बंद पड़ी नगर पंचायत का कूडा यहां तक पहुंचाया ही नहीं जाता है। नगर पंचायत के प्रत्येक वार्ड से कूड़ा एमआरएफ सेंटर तक पहुंचाने के लिए 11 ठेलिया खरीदी गई थी। वह आज भी एमआरएफ सेंटर पर पड़ी हुई है।कस्बे में ही जगह-जगह पर कूडे के ढेर लगे हैं। जिससे काफी दुर्गंध उठ रही है स्थानीय लोगों द्वारा कूडा हटाने को लेकर कई बार इसकी शिकायत नगर पंचायत प्रशासन से की गई फिर भी कोई सुनवाई नहीं हो रही है।नगर पंचायत के लोगों का आरोप है कि यहां पर तैनात अधिशासी अधिकारी सप्ताह में दो बार ही आते हैं।क्योंकि उनके पास बेलहरा नगर पंचायत का चार्ज है इसलिए सिद्धौंर की समस्या का निराकरण नहीं हो पा रहा है।
अधिशासी अधिकारी आशुतोष त्रिपाठी का कहना है कि नगर पंचायत के पूरे 11 वार्ड के लिए ठेलिया खरीदी गई है।उन्हीं से कूड़ा एमआरएफ सेंटर तक पहुंचाया जाता है।यदि नियमित कूड़ा नहीं पहुंचाया जाता है तो जांच कर संबंधित के कार्यवाही की जाएगी।